
नगर में निकली भव्य झांकी, सांस्कृतिक प्रस्तुतियों से गूंजा मंदिर प्रांगण, हजारों दर्शकों ने उठाया आनंद
अल्मोड़ा। माँ नन्दा-सुनन्दा की जयकारों के साथ रविवार को नगरभर में उत्साह, उमंग और संस्कृति का संगम देखने को मिला। नन्दा देवी महोत्सव के तहत आयोजित स्कूली बच्चों की झांकी एवं सांस्कृतिक कार्यक्रमों ने पूरे शहर का माहौल भक्ति और उल्लास से सराबोर कर दिया। भव्य झांकियों के साथ नगर में निकली शोभायात्रा जब राजा आनंद सिंह बालिका इंटर कॉलेज से प्रारंभ होकर मुख्य बाजार से गुज़री तो नगरवासी तालियों और जयकारों के साथ बच्चों का स्वागत करते नज़र आए।
माँ नन्दा देवी मंदिर प्रांगण में पहुंचकर जब विभिन्न विद्यालयों के छात्र-छात्राओं ने सांस्कृतिक प्रस्तुतियाँ दीं तो वहां मौजूद हजारों दर्शक मंत्रमुग्ध होकर देखते रहे। हर प्रस्तुति पर दर्शकों की तालियों की गड़गड़ाहट गूंज उठी और पूरा वातावरण नन्दामय हो गया।
संयुक्त रूप से हुआ शुभारंभ
कार्यक्रम का शुभारंभ नगर निगम महापौर अजय वर्मा, अध्यक्ष कुमाऊँ मण्डल एक्स पैरामिलिट्री फोर्स पर्सनल वेलफेयर सोसायटी मनोहर सिंह नेगी, पार्षदगण एवं मेला समिति के सदस्यों ने संयुक्त रूप से किया। इस अवसर पर महापौर वर्मा ने कहा कि “नन्दा देवी महोत्सव हमारी लोकसंस्कृति, आस्था और एकजुटता का प्रतीक है। नगरवासियों और विद्यार्थियों की सक्रिय भागीदारी इस पर्व को और भव्य बनाती है।”
स्कूलों ने दी शानदार प्रस्तुतियाँ
नगर के लगभग सभी प्रमुख शिक्षण संस्थानों ने झांकी व सांस्कृतिक कार्यक्रमों में हिस्सा लिया। इनमें शामिल रहे:
साईं कॉन्वेंट जूनियर हाईस्कूल
माँ अम्बे इंस्टीट्यूट
स्प्रिंग डेल्स स्कूल
जीजीआईसी अल्मोड़ा
अल्मोड़ा इंटर कॉलेज
महर्षि विद्या मंदिर
राजा आनंद सिंह बालिका इंटर कॉलेज
रैमजे इंटर कॉलेज
महिला पॉलिटेक्निक
विवेकानंद बालिका इंटर कॉलेज
ग्रीन फील्ड स्कूल
ग्रेस पब्लिक स्कूल
पाइनबुड स्कूल
बोधी ट्री स्कूल
आर्य कन्या इंटर कॉलेज
एडम्स इंटर कॉलेज
मिनर्वा रेस स्कूल
जीईसी अल्मोड़ा
होली एंजल पब्लिक स्कूल
सरस्वती शिशु मंदिर
विवेकानंद इंटर कॉलेज रानीधारा
इन संस्थानों के बच्चों ने पारंपरिक लोकनृत्य, सांस्कृतिक नाट्य मंचन, धार्मिक झांकियों और सामूहिक प्रस्तुतियों से दर्शकों का मन मोह लिया। विशेष आकर्षण “कुमाऊँनी छोलिया नृत्य, झोड़ा, चांचरी और कुमाऊँ की लोक वेशभूषा में बच्चों की प्रस्तुतियाँ” रहीं।
निर्णायक मंडल और प्रतियोगिता का आकर्षण
इस अवसर पर निर्णायक मंडल में मोहन जोशी, नीरज सिंह बिष्ट और हर्ष टम्टा मौजूद रहे, जिन्होंने विभिन्न विद्यालयों की प्रस्तुतियों का मूल्यांकन किया। निर्णायकों के अनुसार सभी प्रस्तुतियाँ उत्कृष्ट और अनुकरणीय थीं, परंतु कुछ विद्यालयों ने अपनी सृजनात्मकता और अनुशासन से विशेष छाप छोड़ी।
मेला समिति और पदाधिकारियों की सक्रियता
नन्दा देवी महोत्सव को व्यवस्थित रूप से संपन्न कराने में मेला समिति के पदाधिकारियों और संयोजकों की सक्रिय भूमिका रही।
अध्यक्ष: मनोज वर्मा
सचिव: मनोज सनवाल
मुख्य सांस्कृतिक संयोजक: तारा जोशी
मेला सह संयोजक: रवि गोयल
व्यवस्थापक: अनूप साह
मुख्य संयोजक: अर्जुन बिष्ट चीमा
कोषाध्यक्ष: हरीश बिष्ट
संयोजक: अमित साह मोनू, अमरनाथ नेगी, अमरनाथ सिंह नेगी
मीडिया प्रभारी: कपिल मल्होत्रा, हितेश वर्मा
सह संयोजक: पार्षद अभिषेक जोशी, मनोज भंडारी मंटू, धन सिंह मेहता, जीवन नाथ वर्मा, राजेंद्र बिष्ट
अन्य व्यवस्थापक: हरीश भंडारी, जगत तिवारी, आशीष बिष्ट, दया कृष्ण परगाई, नमन बिष्ट, पंकज परगाई, आदित्य बिष्ट, गोविंद मेहरा
पूरे आयोजन में पुलिस एवं जिला प्रशासन की भी अहम भागीदारी रही, जिन्होंने सुरक्षा व्यवस्था और यातायात नियंत्रण में सहयोग दिया।
जनता ने लिया भरपूर आनंद
नगर में निकली झांकियों को देखने के लिए सुबह से ही बाजार क्षेत्र में भीड़ उमड़ पड़ी। महिलाएँ, बुजुर्ग और बच्चे सभी झांकियों के मार्ग पर खड़े होकर प्रस्तुतियों का आनंद उठाते रहे। स्थानीय लोगों का कहना था कि “नन्दा देवी महोत्सव नगर की आत्मा है और इसमें बच्चों की भागीदारी देखकर भविष्य के प्रति गर्व महसूस होता है।”
संस्कृति और आस्था का संगम
कार्यक्रम के अंत में माँ नन्दा देवी की आरती के साथ भव्य सांस्कृतिक संध्या का आयोजन हुआ। देवभूमि की परंपराओं और संस्कृति का अनूठा संगम प्रस्तुतियों के रूप में देखने को मिला।
मेला समिति के संयोजकों ने घोषणा की कि आने वाले दिनों में और भी विविध सांस्कृतिक कार्यक्रम, प्रतियोगिताएँ एवं धार्मिक आयोजन महोत्सव को और रंगीन बनाएंगे।
नन्दा देवी महोत्सव का यह दिन नगरवासियों की स्मृति में लंबे समय तक यादगार रहेगा। भक्ति, संस्कृति और परंपराओं से ओत-प्रोत यह आयोजन न केवल स्थानीय बच्चों की प्रतिभा का परिचायक बना बल्कि नगर की एकजुटता और सामाजिक सामंजस्य का भी संदेश लेकर आया।





